बुरहानपुर,
नेपा मिल जो कभी एशिया की सबसे बड़ी पेपर मिल थी, 7 साल बाद फिर से कारोबार में है। केंद्रीय उद्योग मंत्री डॉ. महेंद्रनाथ पाण्डेय ने बटन दबा कर गत मंगलवार को नेपा मिल के नये संयंत्रों को चालू किया। नेपा मिल का नवीनीकरण कुल 469 करोड़ रुपये की लागत से किया गया है। मिल के फिर से शुरू होने से मध्य प्रदेश के बुरहानपुर जिले के नेपानगर के एक हजार परिवारों को फिर से रोजगार मिलना शुरू हो जाएगा।
बुरहानपुर जिले में नेपा प्लांट का पुनः शुभारंभ किया। इस दौरान राज्य के एमएसएमई मंत्री एवं उद्योग नीति एवं निवेश प्रोत्साहन मंत्री मौजूद रहे। नेपा के पुनरुद्धार और मिल विकास योजना से इस संयंत्र की वार्षिक उत्पादन क्षमता में वृद्धि होगी।
75 साल का इतिहास रखने वाली मिल 2 तरह के कागज का उत्पादन करेगी। पहले प्रकार में समाचार पत्रों के लिए 44.45 जीएसएम पेपर तैयार किया जाएगा। इसे बेकार कागज से पल्प तैयार कर बनाया जाएगा। जब दूसरा राइटिंग प्रिंटिंग पेपर तैयार किया जाएगा। यह कच्चे माल के रूप में लेपित पुस्तकों, अच्छी गुणवत्ता वाले पुराने कार्यालय के कागज और अन्य भारतीय पुनर्नवीनीकरण कागज का उपयोग करेगा। यह कागज 60 से 80 GSM का होगा।
पहले मिल की उत्पादन क्षमता 88 हजार मीट्रिक टन प्रतिवर्ष थी। अब नवीनीकरण के बाद संयंत्र हर साल 1 लाख मीट्रिक टन से अधिक कागज का उत्पादन कर सकता है और उसके लिए वहां आधुनिक मशीनें भी लगाई गई हैं।