– स्मारक पर दीनदयाल जी को दी श्रंद्धाजलि
फरह मथुरा,
दीनदयाल धाम में आयोजित पं० दीनदयाल उपाध्याय स्मृमि महोत्सव के अन्तर्गत आयोजित राष्ट्रीय शोध संगोष्ठी को संबोधित करते हुए राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने विभिन्न विश्वविद्यालयों से आये कुलापति, प्रोफेसर, शिक्षक एवं छात्र-छात्राओं से कहा कि पं० दीनदयाल जी के विचारों के अनुरूप हम काम करते रहें, स्वयं भी करें और हम सब मिलकर भी करें। उपाध्याय जी ने समाज सेवा में लिए अपना पूरा जीवन त्याग किया।
राज्यपाल ने कहा कि कृषि क्षेत्र के लिए, महिलाओं की उन्नति के लिए, बच्चों की शिक्षा के लिए, अर्थ व्यवस्था में सुधार के लिए और समाज में सामन्जस्य, शांति, सदभाव तथा जाति-जाति तक कोई विवाद न हो ऐसा काफी कुछ हम लोगों को उपाध्याय जी के विचारों से सीखने को मिलता है।
श्रीमती पटेल ने कहा कि उपाध्याय जी के विचारों को हमें धरातल पर उतारना है और यह भी सुनिश्चित करना होगा कि वे जन जन तक पहुॅचे। देश के बड़े बड़े विश्वविद्यालयों में जो छात्र पढ़ते हैं, वे जब उस विश्वविद्यालय से बाहर जाये तो उन विचारों को आगे बढ़ायें, यह उनका कर्तव्य है। उन्होंने कहा कि महिलाओं की शिक्षा, सुविधा एवं सुरक्षा के लिए अधिक प्रयास करने की जरूरत है। महिलाओं को शिक्षित कर हम समाज में बदलाव ला सकते हैं और यही बदलाव एक उन्नत देश की नींव होती है।
राज्यपाल ने कहा कि नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति को धरातल पर उतारना है। यह नीति बहुत ही अहम है क्योंकि भारत सरकार ने इस राष्ट्रीय शिक्षा नीति में पं० दीनदयाल उपाध्याय जी के सभी विचारों को समाहित किया है। यह नीति जब प्राइमरी स्कूलों, अंग्रेजी स्कूलों, आंगनबाड़ी, काॅलेज, विश्वविद्यालय में लागू होगी तो हम उपाध्याय जी के विचारों से देश को आगे ले जा सकते हैं। हमें बदलते हुए समय के अनुरूप शिक्षा नीति में भी बदलाव लाने चाहिए और शिक्षा क्षेत्र में नये प्रकार के प्रशिक्षण, रिसर्च आदि करवाना चाहिए, जो आज के जीवन के लिए लाभादायक हो।
श्रीमती पटेल ने कहा कि हमें समस्याओं के समाधान के लिए प्रयास करना चाहिए। बच्चों को रिसर्च के दौरान किसानों के पास स्वयं जाकर किसानों की समस्यायें समझनी चाहिए और उन्हें नये- नये अविष्कारों के बारे में बताना चाहिए। उन्होंने कहा कि हमें सतर्क रहना चाहिए और जीवन में आ रही सभी परेशानियों का सामना पं० दीनदयाल जी के आदर्शों एवं विचारों से सीख लेते हुए समस्याओं का समाधान करना चाहिए।
इससे पूर्व राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने पं० दीनदयाल उपाध्याय जी के जन्मदिवस के अवसर पर पं० दीनदयाल धाम स्थित स्मारक भवन पर पं० दीनदयाल उपाध्याय जी की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर श्रदांजलि अर्पित की। उन्होंने महात्मा ज्योतिराव फुले पर आधारित पुस्तिका का विमोचन किया तथा पं० दीनदयाल उपाध्याय जी के जीवन पर आधारित एक विशेष डाॅक्यूमेंट्री का अवलोकन किया। राज्यपाल ने वहां की महिला ग्राम प्रधान से भेंट की।
इस दौरान स्मारक एवं कार्यक्रम में निदेशक सोनपाल सिंह, लक्ष्मीनारायण चौधरी गन्ना विकास एवं चीनी मीलें मंत्री, दीनदयाल कामधेनु गौशाला अध्यक्ष शिव शंकर शर्मा, मंत्री डॉ० हरि भदौरिया, महापौर डाॅ० मुकेश आर्यबन्धु, जिला पंचायत अध्यक्ष किशन सिंह, विधायक पूरन प्रकाश ,जिलाधिकारी, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, प्रो० आद्या प्रसाद पाण्डेय, कुलाधिपति सचिन गुप्ता, कुलाधिपति डाॅ० मणिका शर्मा, डाॅ० चन्द्र शेखर एवं समिति पदाधिकारी उपस्थित रहे।
शनिवार सायं को संस्कृति मंत्रालय के सौजन्य से रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुति हुई। देर रात्रि से शुरू हुए रसिया-दंगल सुबह तक चलते रहे। ग्रामीणों ने बड़े ही उत्साह से भाग लिया। रसिया दंगल शिक्षक संघ फरह के तत्वावधान में हुए।