भारत को सुरक्षा परिषद में जाधव की रिहाई और मुआवजे के लिए हस्तक्षेप करना चाहिए- प्रो भीमनेशनल पैंथर्स पार्टी के मुख्य संरक्षक, इंटरनेशनल लॉ और हेग की अन्तर्राष्ट्रीय अदालत के विशेषज्ञ प्रो. भीम सिंह ने भारतीय नौसेना के एक सेवानिवृत्त नौसेना अधिकारी श्री कुलभूषण जाधव के मामले को हेग में अन्तर्राष्ट्रीय अदालत के समक्ष भारत का प्रतिनिधित्व करने वाले न्यायविदों की भूमिका की प्रशंसा की है। श्री कुलभूषण जाधव को झूठे बहाने के तहत पाकिस्तान ने गिरफ्तार करके हिरासत में लिया गया था। सफलतापूर्वक भारत ने अन्तर्राष्ट्रीय अदालत के समक्ष श्री कुलभूषण जाधव के खिलाफ पाकिस्तान के झूठे और निराधार आरोपों को उजागर किया।
पैंथर्स सुप्रीमो ने सुरक्षा परिषद से मामले में हस्तक्षेप करने का आग्रह किया कि पाकिस्तान को पाकिस्तान की नजरबंदी से श्री कुलभूषण जाधव को शीघ्र रिहा करने का निर्देश दे, क्योकि अब इस बात की पुष्टि हो गई है कि गिरफ्तारी, यातना और पाकिस्तान की जेल में सैन्य हिरासत कानून के तहत अमानवीय व्यवहार के साथ उसे हिरासत में रखा गया था और पहले ही दिन से उसकी नजरबंदी गैरकानूनी, व्यर्थ व अंतरराष्ट्रीय कानून के खिलाफ थी। यह एक अंतर्राष्ट्रीय दायित्व है कि श्री कुलभूषण जाधव को जल्द से जल्द उचित मुआवजे के साथ रिहा किया जाय, जो कि अंतर्राष्ट्रीय कानून द्वारा आवश्यक होगा और साथ ही उनके परिवार के लिए उनकी देखभाल, सभी सहायता और चिकित्सा सहायता उचित मुआवजा भी प्रदान करेगा जो कि वर्षों से भुगतना पड़ा है। भारत सरकार को अंतर्राष्ट्रीय न्यायालय के फैसले के प्रभावों के कार्यान्वयन के लिए बिना किसी देरी के सुरक्षा परिषद जाना चाहिए।
प्रो भीम सिंहअंतर्राष्ट्रीय कानूनी सहायता समिति के चेयरमैन है।