839 पेज की ज्ञानवापी सर्वे रिपोर्ट में कहा गया है कि हिन्दू मन्दिर के सबूत, त्रिशूल, ॐ, कलश, देवी देवताओं की मूर्तियों के टुकड़े आदि सभी हिन्दू मंदिर के सबूत वहाँ पाए गए हैं।
92 दिनों तक ASI ने ज्ञानवापी मस्जिद परिसर का सर्वे किया था। रिपोर्ट मिलने के बाद विष्णु जैन ने प्रेस-कॉन्फ्रेंस की और बताया कि सर्वे के दौरान ज्ञानवापी मस्जिद में स्वस्तिक के निशान, नाग देवता के निशान, कमल पुष्प के निशान, घंटी के निशान, ओम लिखा निशान, टूटी हुई विखंडित हिंदू देवी-देवताओं की मूर्तियां भारी संख्या में मिली हैं। मंदिर के टूटे हुए खंभों के अवशेष भी मिले हैं।
अधिवक्ता विष्णु जैन ने ASI सर्वे रिपोर्ट पढ़ते हुए बताया कि GPRS (Ground Penetrate Radar System) द्वारा जो सर्वे हुआ है, उसमें विखंडित शिवलिंग प्राप्त हुए हैं। फोटोग्राफी, वीडियोग्राफी, थ्री डी इमेज और रासायनिक प्रकिया द्वारा किए गए सर्वे में महत्वपूर्ण साक्ष्य मिले हैं। सभी साक्ष्य वैज्ञानिक परीक्षण के आधार पर संकलित किए गए। तीनों गुंबद के ऊपर भी स्टडी टीम ने जांच की। टीम ने वजूखाने को छोड़कर एक-एक जगह की बारीकी से जांच की।
विष्णु जैन कहा कि 34 जगहों पर देवनागरी, कन्नड़, तेलुगु इंस्क्रिप्शन (शिलालेख) मिले हैं। इससे पता चलता है कि मंदिर के ही हिस्से को मस्जिद बनाने में इस्तेमाल हुआ है। रिपोर्ट में महा मुक्ति मंडप का भी जिक्र आया है। सर्वे में एक शिलालेख मिली है, जिसमें लिखा है कि औरंगजेब ने कहा था कि मंदिर तोड़ दी जाए। मंदिर के पिलर को मस्जिद बनाने में रियुज किया गया है। तहखाने में हिंदू देवी-देवताओं की मूर्तियों के अवशेष मिले हैं।