बांका सदर प्रखंड में 2010 लोगों को पड़े कोरोना के टीके

18 साल से अधिक उम्र के 1530 लोगों ने लिए टीके
45 साल से अधिक उम्र के 480 लाभुकों ने लगवाए टीके

बांका, 16 जून

जिले भर में बुधवार को कोरोना टीकाकरण को लेकर विशेष अभियान चलाया गया। इसके तहत बांका सदर प्रखंड में अधिक से अधिक लोगों के टीकाकरण की व्यवस्था की गई थी। इसी का नतीजा रहा कि बड़ी संख्या में लोग कोरोना का टीका लेने के लिए सामने आए। सदर प्रखंड में 18 साल से अधिक उम्र के 1520 लोगों ने कोरोना के टीके लिए . वहीं 45 साल से अधिक उम्र के 480 लाभुकों ने टीके लगवाए। यानी कि कुल 1980 लोगों ने कोरोना के टीके लिए।

शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी डॉ. सुनील कुमार चौधरी ने कहा कि बांका पीएचसी में 18 साल से अधिक उम्र के 70 और 45 साल से अधिक के 20 लोगों ने तो यूएमएम दुधारी, समुखिया में 18 साल से अधिक उम्र के 250 और 45 साल से अधिक उम्र के 30 लोगों ने टीके लगवाए। भतकुंडी में 18 साल से अधिक उम्र के 70 तो 45 साल से अधिक उम्र के 20, ककवारा में 18 साल से अधिक उम्र के 110 और 45 साल से अधिक के 50, जोगडीहा, कृष्णाडीह, हरिपुर में 18 साल से अधिक उम्र के 240 तो 45 साल से अधिक उम्र के 100 लोगों को, धोबी टोला, विजय नगर में 18 साल से अधिक उम्र के 90 और 45 साल से अधिक उम्र के 30 लोगों को, दुर्गास्थान, भैरोस्थान में 18 साल से अधिक के 140 तो 45 साल से अधिक के 30 लोगों को, चूटिया, बेलाटीकर, अमरपुर में 18 साल से अधिक के 260 तो 45 साल से अधिक के 60 लोगों को, एकसिंघा में 18 साल से अधिक के 110 तो 45 साल से अधिक के 70, डोमाखर में 18 साल से अधिक के 60 तो 45 साल से अधिक 30 लोगों ने वहीं टीका एक्सप्रेस और आरबीएसके की टीक के जरिये 18 साल से अधिक उम्र के 130 और 45 साल से अधिक उम्र के 40 लोगों को कोरोना के टीके पड़े।

जागरूकता का पड़ा असर: डॉ. चौधरी ने बताया कि कोरोना टीकाकरण को लेकर हाल के दिनों में चलाए गए जागरूकता कार्यक्रम का सकारात्मक असर पड़ा है। यही कारण है कि बुधवार को भारी संख्या में लोग टीका लेने के
लिए सामने आए। लोगों के मन में टीका के प्रति जो दुविधाएं थीं, वह दूर करने में जागरूकता कार्यक्रम सहायक साबित हो रहा है। इससे टीकाकरण अभियान को गति मिल रही है।

लाठी के सहारे वृद्धा आई टीका लेने के लिए: डॉ. चौधरी ने बताया कि टीका के महत्व को लोग इतना समझने लगे हैं कि बहेरा पंचायत के डोमाखर स्कूल में एक वृद्धा लाठी के सहारे बारिश के मौसम में टीका लेने के लिए आईं। अब गांव-गांव के लोग समझ गए हैं कि अगर कोरोना से बचना है तो टीका लेना पड़ेगा। सामाजिक दूरी का पालन करना होगा। घर से बाहर जाते वक्त मास्क लगाना होगा।

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