भारत बन सकता है व्हीकल स्क्रेपिंग का हब, हर जिले में शुरू होंगे व्हीकल स्क्रैपेज सेंटर : नितिन गडकरी

देश में बीते साल अगस्त में भारत सरकार ने वाहन स्क्रैपिंग नीति की शुरुआत की। इस नीति को मालिकों द्वारा वाहनों के स्वैच्छिक स्क्रैप को बढ़ावा देने के लिए 10,000 करोड़ रुपये के निवेश के साथ शुरू किया गया। हाल ही में, इस लक्ष्य की ओर प्रयास करते हुए केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने हरियाणा में एक नई वाहन स्क्रैपिंग सुविधा का उद्घाटन किया। जिसके समारोह में नितिन गडकरी ने यह भी घोषणा की कि उनका लक्ष्य देश भर के हर जिले में 2 से 3 वाहन स्क्रैपिंग केंद्र स्थापित करना है।

हरियाणा में नई Registered Vehicle Scrapping Facility को अभिषेक समूह द्वारा जापान स्थित ऑटोमोबाइल रीसाइक्लिंग कंपनी Kaiho Sangyo के साथ साझेदारी में लॉन्च किया गया है, और यह स्क्रैपिंग सेंटर प्रति माह 1,800 वाहनों को स्क्रैप कर सकता है, और इसमें नष्ट हुए वाहन घटकों को बचाने और पुन: उपयोग करने के लिए अत्याधुनिक तकनीक का इस्तेमाल करता है। अगले तीन वर्षों के भीतर, अभिषेक समूह देश भर में इसी तरह के 7 से 8 अन्य स्क्रैपिंग केंद्र खोलने की योजना बना रहा है।

परिवहन मंत्री के अनुसार शुरू की गई नई वाहन स्क्रैपिंग नीति का उद्देश्य देश में प्रदूषण के स्तर को कम करना है। दूसरी ओर यह तांबे, स्टील, एल्युमीनियम, रबर और प्लास्टिक जैसे कच्चे माल के आयात पर निर्भरता को कम करने में भी देश की मदद करेगा। गडकरी ने आगे कहा कि ऑटोमोटिव उद्योग वर्तमान में देश भर में लाखों लोगों को रोजगार देता है, और 2024 के अंत तक यह नया कार स्क्रैपिंग प्रोग्राम पर्यावरण को साफ करने में मदद करते हुए राष्ट्र में काफी अधिक रोजगार पैदा करेगा।

पिछले साल नवंबर में केंद्रीय मंत्री ने नोएडा उत्तर प्रदेश में भारत की पहली सरकार द्वारा तैयार कार स्क्रैपिंग और रीसाइक्लिंग सुविधा (Maruti Suzuki – Toyota vehicle scrapping and recycling centre) की शुरुआत की। इसके अलावा दिसंबर 2021 में देश की दूसरी सबसे बड़ी वाहन निर्माता कंपनी टाटा मोटर्स ने एक रजिस्टर्ड वाहन स्क्रैपिंग सुविधा (RVSF) के निर्माण के लिए महाराष्ट्र सरकार के साथ एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए।

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