कोरोमंडल एक्सप्रेस दुर्घटना में ड्राइवर की चूक नहीं, सिग्नल से छेडछाड की आशंका

कोरोमंडल एक्सप्रेस दुर्घटना में ड्राइवर की चूक नहीं हुई बल्कि सिग्नल से छेडछाड की आशंका जताई जा रही है। प्रारंभिक जांच की एक एक्सक्लूसिव रिपोर्ट के अनुसार, इंटरलॉकिंग सिस्टम लूप लाइन पर सेट था और सिग्नल ग्रीन होने की वजह से ट्रेन लूप लाइन पर आगे गई थी। ये रिपोर्ट प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को दी गई है।

कोरोमंडल एक्सप्रेस को सीधा जाना था, लेकिन इंटरलॉकिंग सिस्टम लूप लाइन पर सेट होने के कारण ये ट्रेन सीधे इसी लाइन में चली गई। इस रिपोर्ट में ट्रेनों की आवाजाही समेत पूरा ब्योरा दिया गया है।

सिग्नल ग्रीन होने के बावजूद अगर इंटरलॉकिंग सिस्टम सिग्नल के अनुरूप नहीं है बल्कि दूसरी दिशा में है तो इसका मतलब है कि इंटरलॉकिंग सिस्टम यहां टूट गया। ये गड़बड़ी कैसे हुई? क्या ये गड़बड़ी किसी तकनीकी खराबी के कारण थी या कोई मानवीय चूक है या कोई साजिश थी? इसकी गहन जांच की जा रही है। रेलवे का ऐसा मानना है कि उनका जो सिग्नलिंग का सिस्टम है उसमें ये चूक संभव नहीं है।

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