दुनिया ने भी भारत की असल ताकत को पहचाना, अमेरिका ने फिर माना- इंडिया बेहद जरूरी

दुनिया ने भी भारत की असल ताकत को पहचाना है। जॉन किर्बी ने कहा कि भारत अमेरिका का एक जरूरी रणनीतिक भागीदार है। भारत सरकार की मर्जी है कि वे दुनिया में चल रहे किसी संघर्ष पर क्या रुख अपनाते हैं। अमेरिका का यह बयान भारत के वैश्विक स्तर पर मजबूत होते कद का नतीजा है।

उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अमेरिकी राजकीय दौरे की ओर इशारा किया, जहां प्रधानमंत्री का भव्य स्वागत हुआ। अमेरिकी कांग्रेस को उन्होंने संबोधित किया। इससे दुनिया ने भी भारत की असल ताकत को पहचाना। किर्बी ने कहा अब दुनिया में किसी मसले पर भारत क्या रुख अपनाता है, यह भारत का निजी मामला है।

मध्य पूर्व के ताकतवर देशों सऊदी अरब और यूनाइटेड अरब अमीरात के साथ भारत के बेहतर संबंध हैं। इजराइल के साथ भी भार के संबंझ सामान्य हैं। लगातार बढ़ती आर्थिक और सैन्य ताकत, दुनिया के मैप पर लोकेशन और दुनियाभर में शांति और सुरक्षा के प्रति भारत की प्रतिबद्धता – जिससे अमेरिका भारत से बैर नहीं चाहता।

भारत के बढ़ते कद का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि अमेरिकी प्रतिबंधों के बावजूद भारत ने रूस के साथ अपने रिश्ते बरकरार रखा। अमेरिका की तरफ से दबाव डालने की तमाम कोशिशों के बावजूद सस्ते दामों पर तेल खरीदकर अपनी वैश्विक डिप्लोमेसी को नया आयाम दिया। यूनाइटेडन नेशन में रूस के साथ अपने संबंधों को प्राथमिकता दी। अमेरिका ने भी इसे स्वीकार किया। आलोचना भी की लेकिन भारत के खिलाफ खुलकर कुछ भी कहने की हिम्मत नहीं कर सका।

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