दुनिया के सभी देश चाहते हैं मोदी का साथ

पिछले कुछ दिनों में दस से अधिक देशों के विदेश मंत्री व अन्य वरिष्ठ अधिकारी भारत का दौरा कर चुके हैं। हाल ही में चीन और मैक्सिको के विदेश मंत्री भारत आए थे। एक दिन पहले ब्रिटेन की विदेश मंत्री भी भारत में थीं।

 गुरुवार को जब रूस के विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव भारत पहुंचे तो इससे पहले अमेरिका, जर्मनी और नीदरलैंड के सुरक्षा सलाहकार व समकक्ष भी दिल्ली पहुंच गए, लेकिन पीएम मोदी ने किसी को मिलने का समय नहीं दिया।

पीएम मोदी ने सिर्फ रूसी विदेश मंत्री लावरोव से मुलाकात की और दोनों के बीच करीब 40 मिनट बातचीत भी हुई। पीएम मोदी से मुलाकात से पहले रूसी विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव भारत को मध्यस्थता करने के लिए भी कह चुके हैं।

रूस और भारत पुराने दोस्त रहे हैं। सामरिक क्षेत्र में दोनों देशों के संबंध बहुत पुराने हैं। ऐसे में यूक्रेन विवाद के बीच रूस अपनी पुरानी दोस्ती पर भरोसा जता रहा है। 

रूसी राजदूत से लेकर अब विदेश मंत्री तक यह कह चुके हैं कि भारत ने इस विवाद में जो रुख अपनाया है, वह काबिल-ए-तारीफ है और वह अब तक किसी के दबाव में नहीं आया है। 

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