कोविड-19 मरीजों के चिकित्सकीय उपचार में जुटे प्रत्येक कर्मी को दी जाएगी 10 टेबलेट
चिकित्सा कर्मियों के स्वास्थ्य का रखा जाएगा ख्याल, उन्हें दी जाएगी हाइड्रोक्सिक्लोरक्वीन टेबलेट
कोविड-19 संक्रमण से बचाव के मद्देनजर दी जाएगी दवा
लखीसराय / 16 अप्रैल:
कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने तथा बचाव के कार्य में लगे सभी चिकित्सा कर्मियों के स्वास्थ्य का विशेष ख्याल रखा जाएगा. इसके लिए कोविड-19 पीड़ित रोगियों के चिकित्सकीय उपचार में जुटे नियमित श्रेणी के कर्मियों, संविदा कर्मियों एवं आशा कार्यकर्ता/ आशा फैसलिटेटर को कोरोना संक्रमण से बचाव हेतु हाइड्रोक्सिक्लोरक्वीन टेबलेट दी जाएगी. इसको लेकर राज्य स्वास्थ्य समिति के कार्यपालक निदेशक मनोज कुमार ने सभी सिविल सर्जन एवं जिला कार्यक्रम प्रबंधक को पत्र लिखकर इस संबंध में दिशानिर्देश दिया है.
आईसीएमआर द्वारा अनुशंसित है यह दवा:
पत्र में बताया गया है कि राज्य के सभी जिलों में कोरोना वायरस के चिकित्सकीय प्रबंधन के लिए विभिन्न प्रकार के उपाय निरंतर किये जा रहे हैं. सभी चिकित्सकों को एवं अन्य स्वास्थ्य कर्मियों को संक्रमण से बचाव हेतु एन-95 मास्क, सर्जिकल मास्क, दस्ताना एवं व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण(पीपीई किट) आदि को बीएमएसआईसीएल के माध्यम से पर्याप्त मात्रा उपलब्ध करायी जा रही है. इसी क्रम में स्वास्थ्य कर्मियों को प्रोफेलेएक्सिस (संक्रमण से बचाव) के रूप में भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद(आईसीएमआर) के नेशनल टास्क फ़ोर्स (कोविड-19) द्वारा अनुशंसित हाइड्रोक्सिक्लोरक्वीन टेबलेट को उपलब्ध कराया जाएगा.
प्रत्येक कर्मी को दी जाएगी 10 टेबलेट:
पत्र में बताया गया है कि जिलावार प्रत्येक स्वास्थ्य कर्मी को हाइड्रोक्सिक्लोरक्वीन की 10 टेबलेट प्रदान की जाएगी. इस तरह पूरे राज्य में 1.30 लाख स्वास्थ्य कर्मियों में 13 लाख से अधिक टेबलेट का वितरण किया जाएगा. पटना में कुल 5371 स्वास्थ्य कर्मी (1702 नियमित स्वास्थ्य कर्मी, 540 संविदा कर्मी एवं 3129 आशा एवं आशा फैसलिटेटर) के मध्य 53710 टेबलेट का वितरण होगा.
आईसीएमआर के दिशानिर्देश के मुताबिक करना होगा सेवन:
आईसीएमआर के कोविड-19 के नेशनल टास्क फ़ोर्स ने कोरोना के हाई रिस्क पापुलेशन के लिए संक्रमण से बचाव के लिए हाइड्रोक्सिक्लोरक्वीन टेबलेट सेवन की सलाह दी है. ऐसे स्वास्थ्य कर्मी जिसमें कोरोना के लक्षण नहीं हो एवं वे कोरोना के संदिग्ध या कन्फर्म केसेज के सम्पर्क में हों या उनके चिकित्सकीय उपचार में शामिल हों, उन्हें इस दवा के सेवन के बारे में सलाह दी गयी है. इसके लिए विभिन्न डोज निर्धारित किये गए हैं, जिहें 3 सप्ताह से 7 सप्ताह तक सेवन करने की बात कही गयी है.
स्वास्थ्य कर्मियों को इन बातों का ध्यान रखने की दी गयी सलाह:
• निरंतर हाथों की सफाई, मरीजों एवं अन्य लोगों से 1 मीटर की दूरी बनाना एवं व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरणों का इस्तेमाल करना
• अपनी सेहत का खुद ख्याल रखना एवं किसी तरह के कोरोना लक्षण दिखाई देने पर स्वास्थ्य पदाधिकारी को तुरंत सूचित करना
• स्वास्थ्य पदाधिकारी के सलाह के बिना दवा का सेवन नहीं करना