कंगारू मदर केयर को अपनाएं, इससे शिशु के स्वस्थ शरीर का होता है निर्माण

– माँ की धड़कन सुनकर शिशु को राहत का होता है एहसास, मिलता है आराम

– शिशु को माँ के सीने से चिपकाने से शिशु में होती है गर्माहट

लखीसराय, 30 अक्टूबर, 2020
समय पूर्व जन्म लेने वाले शिशु का ना सिर्फ वजन कम होता है। बल्कि ऐसे शिशु जन्म लेने बाद कई तरह के समस्याओं से घिर जाते हैं। एसे में शिशु के स्वस्थ शरीर के निर्माण के लिए विशेष ख्याल रखना बेहद जरूरी है। इसमें कंगारू मदर केयर तरीके को अपनाना सबसे आसान एवं बेहतर उपाय है।
बच्चों के मानसिक और शारीरिक विकास का होता है निर्माण :-
जिला अपर मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी डॉ देवेन्द्र चौधरी ने बताया कि कंगारू मदर केयर बच्चों में मानसिक एवं शारीरिक विकास का निर्माण करने में काफी सहयोग करता है। बच्चा जब अपने माँ के नजदीक रहता है तो माँ और बच्चे के बीच भावात्मक रिश्ता मजबूत होता है। यह बिना खर्च सबसे अच्छा उपाय है।

क्या कंगारू मदर केयर, इसका उपयोग किस तरह होता है :-
कंगारू मदर केयर एक ऐसा उपाय है। जो कम वजन के साथ जन्म लेने वाले शिशु के स्वास्थ में सुधार लाने के लिए अपनाया जाता है। इससे शिशु का वजन बढ़ता है। स्तपान बेहतर होता है। बच्चे का तापमान सही रहता है और वह इन्फेक्शन से दूर रहता है। बच्चे और माँ के बीच रिश्ता मजबूत होता है। इसका माँ का सीने पर सीधी पोजिशन में शिशु को चिपकाकर रखा जाता है। इस स्थिति में माँ का छाती पुरी तरह खुली होनी चाहिए। जिससे माँ की शरीर का गर्माहट आसानी से और जल्दी शिशु में स्थानांतरित हो सकें। इससे शिशु तापमान सही रहता है। कंगारू मदर केयर माँ के अलावा पिता व परिवार के अन्य सदस्य भी दे सकते है। सिर्फ इस दौरान इस बात का ख्याल रखना है कि शिशु को कंगारू मदर केयर का सुविधा देने वाले स्थस्थ हो।

– ठंड के मौसम में कंगारू मदर केयर बेहद जरूरी :-
ठंड के मौसम में तो कंगारू मदर केयर की महत्ता और बढ़ जाती है। इस उपाय का पालन करने से नवजात के परिजन कई तरह की परेशानियाँ से दूर रहते हैं। साथ ही बच्चे का लालन-पालन में किसी प्रकार की परेशानियाँ का सामना नहीं करना पड़ता है। दरअसल, ठंड के मौसम में नवजात को हाइपोथर्मिया का खतरा अधिक रहता है। किन्तु, कंगारू मदर केयर का पालन करने से इन परेशानियाँ से भी दूर रहा जा सकता है।

इन मानकों का करें पालन, कोविड-19 संक्रमण से रहें दूर :-
– हमेशा शारीरिक-दूरी का पालन करें।
– भीड़-भाड़ वाले जगहों से परहेज करें।
– नियमित रूप से मास्क का उपयोग करें।
– घर से सेनेटाइजर साथ रखकर ही निकलें।
– बार-बार साबुन या अल्कोहल युक्त पदार्थों से हाथ धोएं।

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